कलम है मेरी माँ का नाम/स्वर है मेरे पिता. अक्षर है मेरा सगा भाई. ख़बरें/समाचार हैं मेरे बेटे -बेटियां. अखबार है मेरा हीरामन. पाठक हैं मेरे नातेदार. और हम हैं पत्रकार. बोलो क्या कहते हो? उठाओगे बहन वेदना की कराहती आवाज़ को? अगर हाँ, तो आगे बढ़कर थाम लो आदमी का हाथ, बना डालो धारदार तलवार. जी हाँ! धारदार तलवार . धारदार तलवार. धारदार तलवार.
Friday, September 14, 2018
दुलारे लाल भार्गव: जिन्हें निराला ‘साहित्य का देवता’ कहा करते थे
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